Khabarwala 24 News Hapur: Hapur समोशरण दिगंबर जैन मंदिर, शंकर गंज में रविवार रात्रि को जैन धर्म के 23वें तीर्थंकर भगवान पार्श्वनाथ के चालीसा पाठ का भव्य आयोजन किया गया। इस अवसर पर जैन भक्तों ने श्रद्धा और उत्साह के साथ सामूहिक रूप से चालीसा का पाठ किया। यह आयोजन प्रत्येक माह के प्रथम रविवार को नियमित रूप से आयोजित किया जाता है, जिसमें बड़ी संख्या में भक्त शामिल होते हैं।
चालीसा पाठ और लकी ड्रॉ
चालीसा पाठ के उपरांत एक लकी ड्रॉ का आयोजन किया गया, जिसमें तुषार जैन विजेता रहे। इस कार्यक्रम ने भक्तों में उत्साह और आध्यात्मिक माहौल को और बढ़ाया। भगवान पार्श्वनाथ के प्रति भक्तों की अटूट श्रद्धा और सामूहिक पाठ ने मंदिर परिसर को भक्ति-भाव से भर दिया। अध्यक्ष प्रदीप जैन ने बताया कि यह आयोजन न केवल धार्मिक महत्व रखता है, बल्कि समुदाय को एकजुट करने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। उन्होंने सभी जैन भक्तों से प्रत्येक माह के प्रथम रविवार को आयोजित होने वाले इस चालीसा पाठ में शामिल होने का आग्रह किया।
कार्यकारिणी मीटिंग और नए दायित्व
चालीसा पाठ के बाद शंकर गंज मंदिर की कार्यकारिणी की बैठक प्रदीप जैन की अध्यक्षता में आयोजित की गई। इस बैठक में कार्यकारिणी का विस्तार किया गया और नए सदस्यों को शामिल किया गया। आशु जैन, तुषार जैन, मनोज जैन, नमन जैन और अरिहंत जैन को शंकर गंज कमेटी में शामिल किया गया। इसके अलावा, एस.के. जैन और प्रमोद जैन को शिरोमणि संरक्षक की जिम्मेदारी सौंपी गई। मंदिर में पक्षियों के लिए दाना-पानी की व्यवस्था का दायित्व राजीव जैन और राधा पूरी को दिया गया। इन नियुक्तियों से मंदिर की गतिविधियों को और व्यवस्थित करने में मदद मिलेगी।
समुदाय की एकजुटता
इस अवसर पर अनिल जैन, प्रमोद कुमार जैन, प्रदीप जैन, बिजेंद्र जैन, स्वलिप जैन, तुषार जैन, हेमराज जैन, पंकज जैन, राजीव जैन, शुभम जैन, विनोद बाला जैन, पूनम जैन, सोनू जैन, प्रभा जैन सहित कई अन्य भक्त उपस्थित रहे। यह आयोजन न केवल धार्मिक, बल्कि सामाजिक एकता को भी दर्शाता है। मंदिर समिति ने भक्तों से भविष्य में भी इस तरह के आयोजनों में बढ़-चढ़कर हिस्सा लेने की अपील की।
मंदिर की नियमित गतिविधियाँ
प्रदीप जैन ने बताया कि शंकर गंज मंदिर में नियमित रूप से धार्मिक और सामाजिक गतिविधियाँ आयोजित की जाती हैं। भगवान पार्श्वनाथ चालीसा पाठ के अलावा, मंदिर में पक्षियों के लिए दाना-पानी और अन्य सामुदायिक कार्यों का आयोजन भी किया जाता है। यह मंदिर स्थानीय जैन समुदाय के लिए आध्यात्मिक और सामाजिक केंद्र के रूप में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
