Khabarwala 24 News Hapur : (गौरव शर्मा) जनपद में झोलाछापों का मकड़जाल खत्म करने के लिए स्वास्थ्य विभाग का एक्शन प्लान तैयार हो गया है। मंगलवार को स्वास्थ्य विभाग की टीम ने मोहल्ला मजीदपुरा में दो नर्सिंग होम पर छापामार कार्रवाई की। एक नर्सिंग होम का रजिस्ट्रेशन नहीं होने पर उसे नोटिस दिया गया। जबकि दूसरे नर्सिंग होम पर कुछ मरीज दर्द से कराह रहे थे, लेकिन वहां कोई चिकित्सक ही मौजूद नहीं था। जिसके बाद टीम ने उसके संचालक से भी जवाब-तलब किया गया है।
अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डाक्टर केपी सिंह ने बताया कि मुख्य चिकित्साधिकारी डाक्टर सुनील कुमार त्यागी के निर्देश पर जनपद में झोलाछापों के खिलाफ अभियान संचालित किया गया है। इस अभियान के तहत शहर, गली-मोहल्लों और ग्रामीण क्षेत्रों में खुले नर्सिंग होम और क्लीनिकों की जांच की जा रही है। मंगलवार को वह अपनी टीम के साथ मोहल्ला मजीदपुरा गली नंबर-दो में सबसे पहले अलनूर के क्लीनिक पर पहुंचे। क्लीनिक पर मौजूद मिले चिकित्सक और स्टाफ से पंजीकरण के कागजात मांगे गए। उनके द्वारा कागाजात नहीं दिखाने पर उन्हें नोटिस जारी किया गया है। नोटिस में एक सप्ताह का समय दिया गया है। यदि एक सप्ताह के भीतर संचालक पंजीकरण अथवा नोटिस का जवाब नहीं देंगे तो नियमानुसार कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
दूसरे क्लीनिक पर लेटे थे मरीज, चिकित्सक थे नदारद
अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डाक्टर केपी सिंह ने बताया कि मजीदपुरा गली नंबर दो में ही आयशा नर्सिंग होम संचालित हो रहा था। इस नर्सिंग होम का पंजीकरण तो था, लेकिन मौके पर जब टीम पहुंची तो वहां पर छह मरीज विभिन्न बीमारियों का उपचार कराने के लिए आए हुए थे। इनमें से कुछ लोग दर्द के कारण कराह भी रहे थे। मौके पर ना तो कोई चिकित्सक मरीजों को देखने के लिए मौजूद था और ना ही कोई स्टाफ। इसलिए इस नर्सिंग होम के संचालक से भी जवाब-तलब किया गया है। खास बात यह है कि इस क्लीनिक पर आने वाले मरीजों का किसी दूसरे अस्पताल के नाम पर पंजीकरण था। इस मामले की जांच कराई जा रही है।