Khabarwala 24 News Hapur: Hapur वर्ष 2016 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा नोटबंदी की घोषणा के बाद 500 और 1000 रुपये के नोटों को अवैध घोषित कर दिया गया था। लेकिन, 9 साल बाद भी पुरानी करेंसी का अवैध कारोबार थमने का नाम नहीं ले रहा। हापुड़ पुलिस और जनपदीय स्वाट टीम ने रविवार को एक बड़ी कार्रवाई करते हुए अंतरराज्यीय ठगी के रैकेट का पर्दाफाश किया। इस कार्रवाई में छह आरोपियों को गिरफ्तार किया गया, जिनके कब्जे से 78.5 लाख रुपये की प्रतिबंधित करेंसी, एक अवैध तमंचा, जिंदा कारतूस, और छह मोबाइल फोन बरामद किए गए। यह मामला सोशल मीडिया और स्थानीय समुदाय में चर्चा का विषय बन गया है।
टेलीग्राम के जरिए चल रहा था ठगी का जाल (Hapur)
पुलिस जांच में खुलासा हुआ कि यह गिरोह टेलीग्राम और अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स के जरिए लोगों को ठगने का काम करता था। आरोपी ग्राहकों को लालच देते थे कि वे पुराने 500 और 1000 के नोटों को कमीशन के बदले नई करेंसी में बदल देंगे। असल में, यह एक सुनियोजित ठगी का जाल था। जैसे ही कोई व्यक्ति उनके संपर्क में आता, वे लाखों रुपये हड़प लेते और न तो नई करेंसी देते और न ही पुराने नोट वापस करते। इस नेटवर्क का एक कॉन्टैक्टर मास्टरमाइंड बताया जा रहा है, जिसके तार हापुड़, मुरादाबाद, और बिजनौर जैसे जिलों तक फैले हैं।

पुलिस की कार्रवाई और गिरफ्तारियां (Hapur)
हापुड़ पुलिस को गुप्त सूचना मिली थी कि कुछ संदिग्ध व्यक्ति चितौली रोड पर स्क्रैप फैक्ट्री के पास पुरानी करेंसी के साथ मौजूद हैं। इस सूचना पर कोतवाली पुलिस और स्वाट टीम ने तुरंत कार्रवाई की और घेराबंदी कर छह आरोपियों को धर दबोचा। गिरफ्तार आरोपियों की पहचान निम्नलिखित है:
- अनिल कुमार उर्फ प्रवीन कुमार: चच्ची रोड, निकट मोलवी मस्जिद, थाना हापुड़ नगर
- अनस उर्फ अजीम अहमद: मस्जिद के पीछे, पीरबाबा रोड, थाना हापुड़ नगर
- अफसर उर्फ अजमल: राजीव बिहार, प्रिन्स वैली मंडप के पीछे, थाना हापुड़ नगर
- आरिफ: मोहल्ला चौहान वाली गली, थाना हापुड़ नगर
- वसीम पुत्र जमील अहमद: आम गूजरान, थाना मिंटोड़, जनपद मुरादाबाद
- हिदायत उर्फ शाहरुख: बंबावली कॉलोनी, थाना कोतवाली नगर, बिजनौर
पुलिस ने इनके कब्जे से 78,50,000 रुपये की प्रतिबंधित करेंसी, छह मोबाइल फोन, एक तमंचा, और जिंदा कारतूस बरामद किए।
क्या कहते हैं एसपी (Hapur)
हापुड़ के पुलिस अधीक्षक (एसपी) कुंवर ज्ञानंजय सिंह ने बताया कि नोटबंदी के बाद भी पुरानी करेंसी का अवैध कारोबार करने वालों के खिलाफ पुलिस की जीरो टॉलरेंस नीति है। उन्होंने कहा, “यह गिरोह टेलीग्राम के जरिए लोगों को ठग रहा था। हमने 78.5 लाख की प्रतिबंधित करेंसी और अन्य सामान बरामद किया है। इस नेटवर्क के अन्य सदस्यों की तलाश तेज कर दी गई है ताकि पूरे रैकेट का पर्दाफाश हो सके।”
एसपी ने जनता से अपील की कि वे पुराने नोटों के बदले नई करेंसी देने के लालच में न आएं। उन्होंने कहा, “ऐसी किसी भी संदिग्ध गतिविधि की जानकारी तुरंत पुलिस को दें। साइबर क्राइम हेल्पलाइन (1930) पर भी शिकायत दर्ज की जा सकती है।”


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